बहेलिया व कबूतर – कबूतरी की कथा

महाभारत ग्रन्थ आधारित नीति संबंधी कथा एक समय की बात है किसी घनघोर वन में एक क्रूर बहेलिया चारों ओर घूमता रहता था | वह प्रतिदिन जाल लेकर वन में जाता और बहुत से पक्षियों को पकड़ कर उन्हें बाजार में बेच दिया करता था | एक दिन की बात है वह अपने शिकार की … Read more

पूजनी चिड़िया व राजा ब्रह्मदत्त की कथा

महाभारत से पूजनी चिड़िया की कथा , शत्रुओं से सदा सावधान रहने संबंधी पूजनी चिड़िया व राजा ब्रह्मदत्त की संवाद रूपी कथा | महाभारत के शांति पर्व में भीष्म पितामह महाराज युधिष्ठिर को शत्रुओं से सदा सावधान रहने से संबंधी पूजनी चिड़िया की एक कथा सुनाते हैं | काम्पिल्य नगर में ब्रह्मदत्त नाम के एक … Read more

जीवन में हमें क्या करना और क्या नहीं करना चाहिए – आलसी ऊंट की कथा

महाभारत के शांति पर्व में युधिष्ठिर ज्ञान में सबसे बढे – चढ़े पितामह भीष्म से धर्म संबंधी विभिन्न विषयों पर अपनी शंकाओं का समाधान पा रहे होते हैं | पितामह बाणशय्या पर लेटे पर हैं व उनका शरीर पीड़ा के कारण शिथिल व मन अत्यंत व्यथित है | लेकिन सब धर्म के ज्ञाता व सर्वज्ञ … Read more

आपत्ति के समय क्या करना चाहिए – बिलाव व चूहे की कथा

किसी विशाल वन में एक बहुत बड़ा बरगद का वृक्ष था | वह वृक्ष विभिन्न लताओं से ढका हुआ और भिन्न-भिन्न प्रकार से सुशोभित था | उस विशाल बरगद वृक्ष की जड़ में 100 द्वारों वाला बिल बनाकर पालित नाम का एक परम बुद्धिमान चूहा निवास करता था | इस वट वृक्ष की शाखा पर … Read more